भगवान महावीर के शिष्य ने एक बार प्रश्न किया, “गुरुदेव, मनुष्य के अधोपतन का क्या कारण है और उससे अपनी मुक्ति के लिए क्या किया…
View More भगवान महावीर मानव के अधोपतन का कारण क्या बताते हैं?Tag: अपना पन्ना
…पर क्या इससे उकताकर जीना छोड़ देंगे?
जीने की सम्भावनाओं के बीच हम जीने के बजाय अमर होने की चाह लिए रहते हैं। अपने हर कर्म, विचार को इस कसौटी पर तौलते…
View More …पर क्या इससे उकताकर जीना छोड़ देंगे?सम्यक् ज्ञान : …का रहीम हरि को घट्यो, जो भृगु मारी लात!
जो चीज जैसी है, उसे वैसे ही जानना, न कम, न ज़्यादा, अवस्था के अनुरूप जानना, उसका सम्यक् बोध होना ही सम्यक् ज्ञान है। सम्यक् ज्ञान…
View More सम्यक् ज्ञान : …का रहीम हरि को घट्यो, जो भृगु मारी लात!अपनी लड़ाई की हार जीत हमें ही स्वर्ण अक्षरों में लिखनी है
आसमान में एक लम्बी सफ़ेद धुएँ की लकीर रह गई है। मानो कोई बहुत तेजी से गुजरा हो अपने पीछे पूरा ग़ुबार छोड़कर। इस सबके…
View More अपनी लड़ाई की हार जीत हमें ही स्वर्ण अक्षरों में लिखनी हैभगवान महावीर ने अपने उपदेशों में जिन तीन रत्नों की चर्चा की, वे कौन से हैं?
पृथ्वी पर तीन रत्न हैं। पहला- जल, दूसरा- अन्न और तीसरा- अच्छे बोल (पृथिव्यां त्रीणि रत्नानि जलमन्नं सुभाषितम्)। हम अक्सर जो भी बेहतर होता है, उसके…
View More भगवान महावीर ने अपने उपदेशों में जिन तीन रत्नों की चर्चा की, वे कौन से हैं?हम सब बेहद तकलीफ में है ज़रूर, पर रास्ते खुल रहे हैं
परछाइयाँ बहुत गहरी हैं। हम सब बहुत तकलीफ़ में हैं। उम्र का लम्बा पड़ाव बीत गया है और कुल जमा हासिल अगर यह था या…
View More हम सब बेहद तकलीफ में है ज़रूर, पर रास्ते खुल रहे हैंजीवन इसी का नाम है, ख़तरों और सुरक्षित घेरे के बीच से निकलकर पार हो जाना
भीड़भरे शहरों में अक्सर रहा हूँ, जहाँ ट्रैफिक सिग्नल को देखते-समझते ही उम्र के दशक गुजरते जाते हैं। हम भीड़ में फँसे हों और सामने…
View More जीवन इसी का नाम है, ख़तरों और सुरक्षित घेरे के बीच से निकलकर पार हो जानाजाे जिनेन्द्र कहे गए, वे कौन लोग हैं और क्यों?
इन्द्रियों को जीत लिया है जिस व्यक्ति ने, वह जिन या जिनेन्द्र आदि विशेषणों से पुकारा जाता है। भारतीय धर्म-दर्शन इन्द्रियों पर विजय पाने की महत्त्वपूर्ण चर्चा करता…
View More जाे जिनेन्द्र कहे गए, वे कौन लोग हैं और क्यों?जीवन में हमें ग़लत साबित करने वाले बहुत मिलेंगे, पर हम हमेशा ग़लत नहीं होते
एक मैयत में गया था आज। घर में तो सब ठीक था। रास्ते में भी दुख उमग रहा था। पर श्मशान में मुखाग्नि से कपाल क्रिया के…
View More जीवन में हमें ग़लत साबित करने वाले बहुत मिलेंगे, पर हम हमेशा ग़लत नहीं होतेकब अहिंसा भी परपीड़न का कारण बनती है?
प्राचीन काल की बात है। किसी गाँव में चन्द्रभूषण नामक एक विद्वान पंडित रहते थे। उनकी वाणी में गज़ब का आकर्षण था। भागवत् कथा सुनाने में निपुण थे।…
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