निकेश जैन, इन्दौर मध्य प्रदेश
अमेरिका के सॉफ्टवेयर इंजीनियरों ने क्रिकेट के टी-20 विश्व कप में पाकिस्तान को हरा दिया।
हो सकता है, यह कुछ अतिश्योक्ति वाली बात लगे। लेकिन सच्चाई यही है। इसी गुरुवार को अमेरिका में यही हुआ है। अमेरिका ने पाकिस्तान को क्रिकेट में टी-20 विश्व कप के लीग मैच में शिक़स्त दी है।
तो क्या अमेरिकी टीम में सभी सॉफ्टवेयर इंजीनियर हैं? शायद नहीं। लेकिन अधिकांश ज़रूर हैं। इससे भी बड़ी बात ये कि अमेरिका में क्रिकेट के खेल को गम्भीरता से लिया जाना ही तब शुरू हुआ, जब बाहर मुल्क़ों से आए इन सॉफ्टवेयर इंजीनियरों ने वहाँ गेंद और बल्ला थामा।
मैंने यह बात इसलिए कही क्योंकि मैं ख़ुद भी अमेरिकी क्रिकेट के उस वातावरण का हिस्सा रहा हूँ। वह भी 1997 से 2004 तक लगातार 7 साल।
सो अब अगर हम अमेरिकी क्रिकेट टीम के स्वरूप पर नज़र डालें तो उसमें कुछ जाने-माने उपनाम दिखेंगे। पटेल, खान, टेलर, जोन्स, सिंह, नेत्रावलकर, एंडरसन, इत्यादि।
क्या इससे कोई सूत्र मिलता है?
हाँ, ये सभी बाहर मुल्क़ों से आए इंजीनियर हैं। कोई हिन्दुस्तान से आया है। कोई पाकिस्तान, बांग्लादेश, ऑस्ट्रेलिया, इंग्लैंड, श्रीलंका, आदि से। इनमें से कुछ पहली बार ही अमेरिका आए हैं। या फिर एकाध पीढ़ी पहले। यानि वे युवा, जिनके माता-पिता अमेरिका आए थे।
अमेरिका में अब स्थिति ये है कि वहाँ अलग-अलग जगहों पर क्रिकेट की कई लीग होने लगी हैं। इनके स्तर भी अलग-अलग हैं। जैसे- ए, बी, सी, आदि। इन लीग में क्रिकेट से प्यार करने वाले सॉफ्टवेयर इंजीनियर नियमित रूप से खेलते हैं। शौक़ के कारण। इनमें कई ऐसे हैं, जो अपने-अपने देशों के लिए वहाँ की राष्ट्रीय टीम में खेलने की इच्छा रखते थे। उन्होंने कई सालों तक स्कूल, कॉलेज के दिनों में वहाँ खेला भी।
कमाल की बात है कि उनकी इच्छा इतने सालों बाद अमेरिका में इस तरह से पूरी हुई है। क्रिकेट की उन्हीं विभिन्न स्थानीय लीगों में प्रदर्शन के आधार पर पहले ये लोग अपने-अपने ज़ोन (प्रदेश) की टीमों में चुने गए और फिर आख़िर में अमेरिका की राष्ट्रीय टीम का हिस्सा बने।
अगर हम में से किसी ने भी इन लोगों को मौज़ूदा टी-20 विश्व कप में खेलते देखा है, तो वह निश्चित रूप से यही कहेगा कि ये लोग कोई नौसिखिए खिलाड़ी नहीं हैं।
तो क्या क्रिकेट की दुनिया में एक नया देश दहलीज़ पर दस्तक दे रहा है?
सोचिए?
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निकेश का मूल लेख
Software Engineers in America beat Pakistan in T20 world cup!!
Might sound an over statement but this is what happened in USA yesterday.
USA beat Pakistan in T20 world cup!
Is everyone in USA team a software engineer? Perhaps not. But still many are and more importantly the game of cricket was started at serious level by migrants software engineers in USA.
I am saying this because I was part of that cricket eco system for 7 years from 1997 till 2004.
If you look at the current combination of USA team, you will find last names as Patel, Khan, Taylor, Jones, Singh, Netravalkar, Anderson etc.
Does it give any clue?
Yes, these are mostly migrants engineers from countries like India, Pakistan, Bangladesh, Australia, England, Sri Lanka etc. They are either first generation migrants or may be second.
There are multiple level of leagues (A, B and C) playing at multiple locations in USA. And these leagues are full of cricket loving software engineers who play cricket as hobby. Some of them might have played cricket at professional level in their respective home country during their college days.
And based on ones performance in the league they move up the level in respective zone and then ultimately to national team.
If you haven’t watched the game, do watch the highlights! USA team didn’t look like a newbie at all.
A new cricketing nation is right at the fence?
Thoughts?
#Cricket #T-20worldcup #USAbeatPakistan
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(निकेश जैन, शिक्षा के क्षेत्र में काम करने वाली कंपनी- एड्यूरिगो टेक्नोलॉजी के सह-संस्थापक हैं। उनकी अनुमति से उनका यह लेख #अपनीडिजिटलडायरी पर लिया गया है। मूल रूप से अंग्रेजी में उन्होंने इसे लिंक्डइन पर लिखा है।)
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